जयपुर न्यूज़ डेस्क – एसआई भर्ती मामले में बुधवार को हाईकोर्ट में सुनवाई हुई। याचिकाकर्ता की दलीलें पूरी होने के बाद सरकार ने अपना पक्ष रखा। सरकार की ओर से अतिरिक्त महाधिवक्ता विज्ञान शाह ने कहा कि याचिकाकर्ताओं ने तथ्यों को छिपाते हुए कोर्ट में याचिका दायर की है। उन्होंने कहा- हाईकोर्ट में याचिका दायर करने वाले कई याचिकाकर्ता इंटरव्यू तक जा चुके हैं। जब उन्हें मेरिट नहीं मिली तो उन्होंने भर्ती रद्द करने के लिए हाईकोर्ट में याचिका दायर की। वहीं कई याचिकाकर्ता ऐसे भी हैं जिन्हें न्यूनतम अंक भी नहीं मिले। एएजी शाह ने कहा- एसआई भर्ती का पेपर सितंबर 2021 में हुआ था। याचिकाकर्ताओं का कहना है कि तीनों दिन पेपर लीक हुआ और तीनों दिन 11 एफआईआर दर्ज हुईं। लेकिन याचिकाकर्ता साल 2024 में हाईकोर्ट आए। इतने सालों से वे किस बात का इंतजार कर रहे थे। उन्होंने कहा- सरकार अपने स्तर पर कार्रवाई कर रही है। अब तक 52 प्रशिक्षु एसआई गिरफ्तार हो चुके हैं। हमने उन्हें निलंबित कर दिया है। अब उन्हें भी बर्खास्त करने जा रहे हैं, लेकिन सरकार जांच पूरी होने तक किसी निर्णय पर नहीं पहुंचना चाहती।
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" style="border: 0px; overflow: hidden"” title=”राजस्थान मॉर्निंग टॉप न्यूज़ 13 फरवरी 25, SI भर्ती की याचिका पर बवाल, पायलट पर मंत्री बेढ़म का पलटवार” width=”853″>
तीनों दिन के पेपर लीक हुए
इससे पहले याचिकाकर्ताओं की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता मेजर आरपी सिंह और हरेंद्र नील ने बहस को आगे बढ़ाते हुए कहा- भर्ती के तीनों दिन के पेपर लीक हुए। एसओजी जांच से साफ है कि पेपर कई गिरोहों तक पहुंचा था। पेपर लीक करने में आरपीएससी के सदस्य शामिल थे।उन्होंने कहा- ऐसे में सुप्रीम कोर्ट ने भी कहा है कि अगर पेपर बड़े स्तर पर लीक हुआ है तो भर्ती रद्द होनी चाहिए। नए सिरे से भर्ती होने पर सभी अभ्यर्थियों को दोबारा मौका मिलेगा।सरकार ने कुछ महीने पहले भी इसी तरह की अनियमितताओं के चलते ईओ-आरओ भर्ती रद्द की थी, लेकिन इस भर्ती को रद्द नहीं कर रही है। सरकार जो भर्ती चाहती है, उसे रद्द कर देती है और जो नहीं चाहती, उसे रद्द नहीं करती।
गुरुवार को भी होगी सुनवाई
हाईकोर्ट में बुधवार को सरकार की बहस अधूरी रही। ऐसे में कोर्ट ने मामले की सुनवाई भी गुरुवार दोपहर 2 बजे तय की है। सरकार आगे की बहस करेगी। वहीं, चयनित प्रशिक्षु एसआई की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता आरएन माथुर और अधिवक्ता तनवीर अहमद बहस करेंगे।
याचिकाकर्ता भर्ती रद्द करना चाहते हैं
याचिकाकर्ताओं के अलावा मामले में सरकार, प्रशिक्षु एसआई पक्षकार हैं। याचिकाकर्ताओं का कहना है कि भर्ती रद्द की जाए, क्योंकि एसओजी, पुलिस मुख्यालय, एजी और कैबिनेट सब कमेटी ने भर्ती रद्द करने की सिफारिश की है।वहीं, प्रशिक्षण ले रहे सब इंस्पेक्टरों का कहना है कि पेपर लीक में हमारी कोई संलिप्तता नहीं है। हमने इस नौकरी के लिए दूसरी सरकारी नौकरियां छोड़ी हैं। ऐसे में अगर भर्ती रद्द होती है तो यह हमारे साथ अन्याय होगा।
पेपर लीक का हुआ था खुलासा
सब इंस्पेक्टर भर्ती 2021 परीक्षा का पेपर लीक हुआ था। एसओजी की जांच में कई डमी अभ्यर्थियों को बैठाने के मामले भी सामने आए थे। जांच में सामने आया था कि कई अभ्यर्थियों ने फर्जीवाड़ा करके नौकरी हासिल की है। एसओजी ने करीब 50 प्रशिक्षु एसआई को गिरफ्तार किया है, जिनमें से 25 को हाईकोर्ट ने जमानत दे दी है।
हाईकोर्ट ने मंगलवार को एसआई भर्ती मामले में राजस्थान लोक सेवा आयोग (आरपीएससी) द्वारा एफआईआर दर्ज नहीं करने पर नाराजगी जताई। जस्टिस समीर जैन ने आरपीएससी चेयरमैन (कार्यवाहक) कैलाश चंद्र मीना से कहा- जब आपके 2 सदस्यों के नाम सामने आए तो क्या केस दर्ज करना आपकी ड्यूटी नहीं थी? हाईकोर्ट ने मौखिक टिप्पणी करते हुए कहा- क्या आरपीएससी के पास कोई अधिकार है?