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Rajasthan News: भीलवाड़ा में एक साथ जलीं 5 दोस्तों की चिताएं, वीडियो में देखें अब तक बड़ी खबर

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भीलवाड़ा न्यूज़ डेस्क, भीलवाड़ा के 2 गांवों में जब 8 लाशें एक साथ पहुंचीं तो चीख-पुकार मच गई। इनमें 5 शव तो उन दोस्तों के थे जो एक-दूसरे को जान से ज्यादा प्यार करते थे। गांव के बाहर नदी किनारे पांचों का अंतिम संस्कार एक साथ हुआ।महाकुंभ के लिए बीते 15 दिन से प्लानिंग कर रहे थे। डेली रील्स देखते, प्लानिंग करते कि प्रयागराज में कहां रुकेंगे, खाना कहां खाएंगे, त्रिवेणी तक कैसे जाएंगे, परिवार के लिए क्या लाएंगे… लेकिन उनकी इस ड्रीम जर्नी का अंत जयपुर में ही हो जाएगा, ये शायद किसी ने नहीं सोचा था।गुरुवार सुबह भीलवाड़ा के बड़लियास और मुकुंदपुरिया गांव से एक कार में इन 5 दोस्तों सहित 8 लोगों की जयपुर के दूदू में एक्सीडेंट में मौत हो गई। अब गांव और परिवार के साथ केवल उनकी यादें ही रह गईं हैं।

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पहले मौनी अमावस्या पर जाने की थी प्लानिंग

सभी दोस्त पहले मौनी अमावस्या के दिन महाकुंभ जाने वाले थे, लेकिन भगदड़ की खबरें देखकर परिवार वालों ने उन्हें रोक दिया। फिर बसंत पंचमी पर जाने का प्रोग्राम बना, पर दो दोस्तों के घर में पारिवारिक कार्यक्रम आ जाने से वह भी टल गया।आखिरकार 6 फरवरी को सभी महाकुंभ के लिए निकले। सभी खुश थे। किसी को नहीं पता था कि यह उनकी आखिरी यात्रा होगी।

महाकुंभ की रील्स देखता रहता था दिनेश

हादसे में जान गंवाने वाला एक युवक दिनेश बड़लियास गांव में मोबाइल शॉप चलाता था। दिनेश के दोस्त राजू ने बताया कि दिनेश की मोबाइल शॉप पर किसी काम से आता-जाता था।दिनेश 3 भाइयों में सबसे छोटा और अविवाहित था। दुकान पर बैठा वह अक्सर प्रयागराज महाकुंभ की रील्स देखता रहता था। वह दुकान पर आने-जाने वालों से महाकुंभ, प्रयागराज की जानकारी लेता रहा था।

3 दिन बाद वापस लौटने का था प्लान

राजू ने बताया- कुंभ स्नान करने के बाद ये दोस्त अयोध्या में रामलला के दर्शन भी करने वाले थे। इन दोस्तों ने 3 दिन का प्लान बनाया था। रविवार रात इन्हें भीलवाड़ा लौटना था।रवाना होने से पहले सभी दोस्त काफी खुश थे। हर किसी से कुंभ में स्नान करने और मेले का आनंद लेने की बात कह रहे थे। लेकिन गांव से निकलने के कुछ घंटे बाद गुरुवार शाम 4 बजे इनकी कार के एक्सीडेंट की सूचना मिली।एक बार तो यकीन ही नहीं हुआ। रह-रहकर रोना आ रहा है। बता नहीं सकता कि कैसा महसूस हो रहा है। पूरे गांव को ही गहरा सदमा लगा है। परिवारों पर तो क्या बीत रही होगी। पूरे गांव में चूल्हे नहीं जले।

अयोध्या भी जाने वाले थे सभी दोस्त

सरपंच प्रतिनिधि प्रकाश रैगर ने बताया- दिनेश दूर का रिश्तेदार था। उसने बताया था कि दोस्तों के साथ महाकुंभ जा रहा है। वह बहुत खुश था। दिनेश के साथ गया उसका दोस्त रविकांत मेरा भी मित्र था। बुधवार (5 फरवरी) को ही वह मेरे दादाजी की शोकसभा में बैठक में आया था। इसी दौरान बातचीत में उसने बताया था कि गुरुवार को 7-8 दोस्त महाकुंभ जा रहे हैं। इसके लिए किराए पर कार की है। अयोध्या भी जाने का प्लान है। रविवार रात को लौटेंगे।

रेलवे एम्पलॉयी की भी एक्सीडेंट में जान गई

हादसे में जान गंवाने वाले बबलू मेवाड़ा बबलू मेवाड़ा पुत्र मदनलाल मांडलगढ़ रेलवे दूरसंचार विभाग में पोस्टेड थे। उनके बड़े भाई की कुछ समय पहले हादसे में मौत हुई थी। गुरुवार को बबलू की मौत की सूचना आई तो उनके छोटे भाई, पत्नी और तीन बेटियां बिलख पड़े।वहीं, नारायण बैरवा किराने की दुकान पर काम करता था। परिवार खेती बाड़ी का काम करता था। नारायण के दो बेटियां हैं। परिवार में कोहराम मचा हुआ है। बेटियों के सिर से पिता का साया उठा गया। किशनलाल पुत्र जानकीलाल गांव में किराने की दुकान चलाता था। उसके भी एक बेटा और एक बेटी है।

5 दोस्तों का एक साथ हुआ अंतिम संस्कार

शुक्रवार सुबह जब दिनेश, नारायण, रविकांत, किशनलाल और मुकेश के शव गांव पहुंचे तो मातम छा गया। दिनेश, नारायण और रविकांत के परिजनों ने मुआवजे और सरकारी नौकरी की मांग को लेकर अंतिम संस्कार रोक दिया।सुबह 8:15 बजे भीलवाड़ा एसडीएम दिव्यराज चुंडावत बड़लियास पहुंचे। उन्होंने प्रशासक प्रकाश रेगर और पूर्व प्रधान विजय सिंह राणावत से बातचीत की। पीड़ित परिवारों को हर संभव मदद का आश्वासन दिया। 15 मिनट की वार्ता के बाद परिजन अंतिम संस्कार के लिए राजी हुए। गांव के बाहर नदी किनारे पांचों दोस्तों का अंतिम संस्कार एक साथ किया गया। पूरा गांव अंतिम विदाई में शामिल हुआ। हादसे के बाद शुक्रवार को गांव के सभी बाजार बंद रहे।

बस का टायर फटा, बेकाबू होकर कार से टकराई

हादसा जयपुर-अजमेर हाईवे पर मौखमपुरा (दूदू) में गुरुवार दोपहर करीब 3 बजे हुआ। एक रोडवेज बस का टायर फटा और वह लहराते हुए कार से टकरा गई। एसपी आनंद कुमार शर्मा के मुताबिक जोधपुर डिपो की रोडवेज बस जयपुर से अजमेर जा रही थी।ईको कार अजमेर से जयपुर की ओर आ रही थी। बस डिवाइडर कूदकर दूसरी तरफ से आ रही कार से टकरा गई। ईको कार बुरी तरह पिचक गई। उसमें सवार सभी आठ लोगों की मौके पर ही मौत हो गई। कार में बड़लियास गांव (भीलवाड़ा) के रविकांत, दिनेश, मुकेश, सुरेश, किशनलाल और मुकुंदपुरिया गांव के नारायणलाल, प्रमोद, बबलू मेवाड़ा सवार थे।

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